नन्हीं काली, हिम्मतवाली,
चींटी बड़ी निराली है।
दौड़ लगाती, कभी न थकती,
वह कितनी बलशाली है।।
बहुत अधिक मेहनत करती है,
लेकिन थोड़ा खाती है।
जब उसको गुस्सा आता है
हाथी से लड़ जाती है।।
जल्दी जगती रोज सवेरे,
देर रात को सोती।
खुद से अधिक भार ले जाती
बड़ी साहसी होती।।
चींटी कहती - प्यारे बच्चो,
मिलकर कदम बढ़ाओ।
मेहनत करो, न हिम्मत हारो,
जो चाहो वह पाओ।।